सोशल मीडिया के इस्तेमाल की मनाही के बारे में राधास्वामी सत्संग ब्यास की पॉलिसी
भूमिका
राधास्वामी सत्संग ब्यास की अपनी ऑफ़िशियल वेबसाइट है जो संस्था के बारे में, संतमत की शिक्षा, सत्संग सेंटर, निर्धारित सत्संग प्रोग्राम और संतमत की किताबों की पूरी जानकारी और ब्यौरा देती है, ताकि भारत और विदेश में रहनेवाली संगत और जिज्ञासुओं की ज़रूरतों को पूरा किया जा सके। वेबसाइट पर नवीनतम जानकारी दी जाती है ताकि संगत को ताज़ी जानकारी प्राप्त हो। फिर भी कई बार देखा गया है कि सोशल मीडिया प्लेटफ़ार्म, जैसे व्हाट्सऐप पर जो जानकारी वाइरल होती है वह हमेशा सही नहीं होती। सिर्फ़ यही नहीं, जो जानकारी संगत के किसी ख़ास समूह के लिए होती है, उसे भी सार्वजनिक कर दिया जाता है।
इसलिए यह ज़रूरी है कि सभी को ऑफ़िशियल पॉलिसी के बारे में बताया जाए कि सही जानकारी कहाँ से मिल सकती है, इस जानकारी को संगत तक पहुँचाने के लिए किसे अधिकार दिए गए हैं, और किस मीडिया के ज़रिए यह जानकारी पहुँचाई जाती है। इस तरह संगत ग़लत और गुमराह करने वाली जानकारी से बच सकती है।
ऑफ़िशियल जानकारी का प्रसार
राधास्वामी सत्संग ब्यास के बारे में ऑफ़िशियल जानकारी के लिए भारत और विदेश में दो मान्यता प्राप्त ज़रिए हैं। भारत में राधास्वामी सत्संग ब्यास के सेक्रेटरी का ऑफ़िस और विदेश में ओवरसीज़ सत्संग सेंटर का ऑफ़िस (ओ.एस.सी)।
भारत और बाहर के देशों में सीनियर सेवादारों और डिपार्टमेंट्स को जानकारी भेजी जाती है जो ज़रूरत के अनुसार सभी को सूचना पहुँचाते हैं। भारत में, सत्संग सेंटर इंडिया डिपार्टमेंट्स में सेवादारों के भिन्न-भिन्न स्तर हैं, जो नीचे से ऊपर तक का प्रशासन सँभालते हैं। विदेश में ई-मेल द्वारा ओ.एस.सी के सभी चेयरपर्सन, रिप्रेसेंटेटिव्स् और कोऑर्डीनेटर्स् को सूचना भेजी जाती है, जो आगे दूसरे सेवादारों और संगत को सूचित करते हैं।
भारत में ई-मेल के ज़रिए सीनियर सेवादारों को सूचना पहुँचाई जाती है। वे आगे सेवादारों को ई-मेल और एस एम एस से सूचित करते हैं। भारत में सत्संग सेंटर/सत्संग सब-सेंटर/सत्संग-पॉइंट पर अनाऊंसमेंट के ज़रिए संगत को बताया जाता है, कई बार सूचना नोटिस बोर्ड पर भी लगाई जाती है, और ज़रूरत पड़ने पर बाहर के देशों की तरह फ़ोन-ट्री के ज़रिए भी सूचित किया जाता है।
विदेश में सूचना पहुँचाने का मान्यता प्राप्त तरीक़ा ई-मेल है जो सभी सीनियर सेवादारों को भेजी जाती है। वहाँ यह जानकारी संगत को सत्संग घर में अनाउंसमेंट, नोटिस बोर्ड के ज़रिए और न्यूज़ लेटर के द्वारा पहुँचाई जाती है। ख़ास मौक़ों पर संगत तक सीधे जानकारी पहुँचाने के लिए लोकल फ़ोन ट्री का इस्तेमाल भी किया जाता है।
इसके अलावा दूसरा कोई तरीक़ा राधास्वामी सत्संग ब्यास की जानकारी के प्रसार के लिए मान्य नहीं है
सोशल मीडिया के इस्तेमाल की मनाही
राधास्वामी सत्संग ब्यास व्हाट्सऐप या कोई दूसरे सोशल मीडिया प्लेटफ़ार्म इस्तेमाल नहीं करता। इसका कारण यह है कि इन प्लेटफ़ार्म से जानकारी भेजने से उसमें फेर-बदल की सँभावना ज़्यादा होती है जिससे संगत गुमराह हो सकती है। कौन सी सूचना ऑफ़िशियल है, और कौन सी नहीं – संगत इसमें फ़र्क नहीं कर पाती। इसीलिए राधास्वामी सत्संग ब्यास, अपनी पॉलिसी के तहत, भारत और विदेश में ऑफ़िशियल जानकारी के प्रसार के लिए सोशल मीडिया, जैसे व्हाट्सऐप का इस्तेमाल नहीं करता।
- लोग बहुत आसानी से जानकारी को अपने इलाक़े में या दूसरे देशों में संगत को भेज सकते हैं। हो सकता है कि कोई ख़ास जानकारी या निर्देश उन लोगों के लिए न हो, इस तरह ग़लतफ़हमी पैदा हो जाती है।
- कई बार लोग इस जानकारी में जान-बूझकर या अनजाने में फेर-बदल करके आगे लोगों को पहुँचा देते हैं, जिससे संगत में भ्रम या ग़लतफ़हमी हो जाती है
- इन प्लेटफ़ार्म पर इतना कुछ प्रसारित होता है कि लोग यह अंदाज़ा ही नहीं लगा पाते कि कौन सी सूचना सही है और कौन सी अफ़वाह है। मात्र यही कहकर इस स्थिति से निपटा जा सकता है कि इन प्लेटफ़ार्म पर कुछ भी ऑफ़िशियल नहीं है।.